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Pain In Relationship

रिश्तों में कार्मिक संबंध क्या हैं, यह कैसे शुरु होता हैं, और इसे खत्म करने के लिए आप क्या कर सकते हैं।

क्या आपने अपने रिश्ते में ऐसे बंधन का अनुभव किया हैं जो गहरे कनेक्शन जैसा लगता हैं, लेकिन फिर भी आप उस रिश्ते के साथ गहरे जुडने के बाद भी मानसिक रुप से तनाव में और अशांत हैं। तो आप कार्मिक रिश्ते में बंध चुके हैं जिसका असर एक ही समय में प्रेम में जुनून, लेकिन अंज़ाम दर्द से भरा हुआ हैं।

कार्मिक संबंध वह है जिसमे आप अपने साथी से जुनून के साथ प्रेम तो करते हैं लेकिन उसे हमेशा बनाए रखना बेहद मुश्किल होता हैं। यह रिश्ते हमेशा के लिए टिकने के लिए नहीं होते हैं, लेकिन ये प्यार में आपको ऐसे बहुत से सबक सिखाते हैं जो आपके लिए दरद बन कर रह जाते हैं। यह ऐसा रिश्ता हैं जिसमे बहुत बार ब्रेकअप होने के बाद भी आप फिर आपस में मिलते हैं और जिसे चाह कर भी आप खत्म नहीं कर पाते हैं। यह कार्मिक रिश्ता दोनो को दर्द और तकलीफ देने के बाद भी कसकर पकडे रखता हैं, और आपके अपने आपकी भलाई के लिए ही उसे खत्म करने को भी कहते हैं, लेकिन आप एक दूसरे को छोडने में सक्षम नहीं होते हैं।

यह संबंध अचानक बनते हैं और आप समझ भी नहीं पाते हैं कि यह कैसे आपको एक दूसरे के प्रति बहुत आकृषित करते हैं और आप महसूस करते हैं कि आप एक दूसरे के बिना नहीं रह पाते हैं। आप उसके साथ रहना और समय बिताना चाहते हैं लेकिन ऐसा नहीं हो पाता हैं और आप अपने साथी के अंदर की कमियों को भी नज़र अंदाज़ करते हैं।

यह संबंध किसी के साथ भी बन सकते हैं जिसमे दोस्त, पार्टंनर, जीवन साथी, कोई परिवार का सदस्य या अन्य, यह किसी के साथ एक छोटी सी मुलाकात के बाद भी महसूस हो सकता हैं।        

ऐसे कार्मिक संबंध की पहचान करना मुश्किल होता हैं, खासकर जब आप उसमे फंस गए हों। इस रिश्ते में आपकी भावनाए बहुत आहत होती हैं, जो एक दिन तो बहुत खुशी देता हैं लेकिन दूसरे दिन बहुत तकलीफ देने लगता हैं। इसमे आपस में अचानक बहस होने लगती हैं और लगता हैं कि अब इस रिश्ते का अंत हो जाएगा। वैसे तो सभी रिश्तों में उतार-चढ़ाव आते हैं, लेकिन कार्मिक रिश्ते में आपके सीने पर एक दर्द और बोझ महसूस होता हैं। ऐसे रिश्ते में आप भावनात्मक और मानसिक रुप से अपने साथी पर निर्भर होते हैं जिससे आप गहरे रुप से आहत भी होते हैं।  

आप ऐसे में विवाह करते हैं तो उसके आदि हो जाते हैं और उस पर आश्रित हो जाते हैं, जिससे चाह कर भी रिश्ता तोड़ना बहुत मुश्किल हो जाता हैं। 

कार्मिक रिश्ते अक्सर विषाक्त और एकतरफ़ा होते हैं, जिससे एक व्यक्ति समर्पित भावना से दूसरे को खुश रखने के लिए कुछ भी कर सकता हैं। इसलिए हम उसे खत्म करने के ड़र से डरते हैं, कि बाद में उसके बिना कैसे रहा जाएगा, इसलिए हम वर्तमान में हर तकलीफ सह कर समझौता करने के लिए तैयार रहते हैं, क्योंकि कार्मिक रिश्ता पिछले जन्मों से लाए हैं और पिछले जन्मों के चक्र को तोड़ना आसान नहीं होता हैं और साथी के बुरे व्यवहार से बहुत कुछ सीखते रहते हैं. जो पिछले जन्म में सीख नहीं पाए हैं और इस जन्म में कोशिश करते हैं कि इसे कैसे ठीक किया जाए। आप अपने कार्मिक संबंधों में जो सबक सीखते हैं, वह दर्द कठिन हो सकता है, और इससे आपको बहुत पीड़ा हो सकती हैं, लेकिन यह आपकी आत्मा को मज़बूत करता हैं और जीवन का अनुभव और सबक मिलता हैं, जिससे आप सब मोह माया छोड़ कर शांति की ओर जाना चाहते हैं।

लोग अक्सर कार्मिक साथी को अपना आत्मिक साथी मान लेते हैं, लेकिन ऐसा नहीं होता हैं क्योंकि उनमे व्यवहारिक कोई समानता नहीं होती हैं। आत्मिक रिश्ते में आप संतुष्टि और प्रेम महसूस करते हैं। लेकिन कार्मिक में आपको हमेशा बोझ और भारीपन महसूस होगा और अंदर से आवाज़ आएगी कि कुछ ठीक नहीं हैं।

इस रिश्ते में बार बार आपसी झगड़े होते हैं और एक दूसरे को नीचा दिखाने के लिए दोष लगाए जाते हैं, क्योंकि आत्मा में पिछ्ले जन्मों का दर्द भरा होता हैं और यह तब तक चलता रहता हैं जब तक आपकी आत्मा को सबक न मिल जाए। यह कार्मिक संबंध, मजबूत बंधन की तरह होता है, यह विषाक्त होने के साथ-साथ प्रेमपूर्ण भी हो सकता है, जो हमेशा आपके साथ प्रेम भरा नहीं रहता हैं और एक साथी दूसरे को अपने नियंत्रण में करने की सोचता हैं। ऐसा इसलिए होता हैं क्योंकि पिछले जन्मों के नकारात्मक लेन देन को इस जीवन में चुकता करने आते हैं। इस जन्म में यह बहुत नशीला होता हैं, जो तूफानी जुनुनी की तरह होता हैं और आप उस पर आत्म समर्पण कर देते हैं।  

इससे क्रोध में आकर या साथी पर दोष दे कर निकलने का प्रयास नहीं करें, बल्कि अपने जीवन में शांति और संतुलन लाने के लिए और अपने आत्म सम्मान को महत्व देने के साथ साथी के साथ शांति से बातचीत करके ही इसे छोड़े, कि इस कर्म ऋण को मुक्त करने के लिए रिश्ते में तकलीफ सहने से बेहतर एक खूबसूरत अंजाम दे कर आगे बड़ा जाए, तभी आपकी आत्मा कार्मिक ऋण की डोरियों से मुक्त होगी। आप इस कार्मिक संबंध का अनुभव कभी नहीं भूलेंगे, क्योंकि यह आपको अंदर तक झंझोड चुका होगा।

अब बात आती हैं, कि कैसे इस जहरीले रिश्ते से दूर हुआ जाए, क्योंकि कार्मिक और दर्द भरे रिश्ते से दूर जाना मुश्किल हो सकता हैं और खासकर तब जब आप छोड़ने के लिए सोच रहे हैं क्योंकि अब यह रिश्ता अपमानजनक हैं, एक तरफा महसूस हो रहा हैं और आप भावनात्मक निर्भर हो रहे हैं और आपका महत्व समझा नहीं जा रहा हैं और अब इसका अंत करना मुश्किल हो रहा हैं। आपको इसके अंत के लिए बहुत मज़बूत होना होगा तभी आप इस कार्मिक रिश्ते को जो कई जन्मों से संघर्ष और दर्द दे रहा हैं, और पिछले जन्म में कई वादे किये थे जो पूर्ण नहीं हुए, अब आपको इस विनाशकारी चक्र को तोड़ना चाहिए। आपको अपने आत्म सम्मान की कद्र करनी चाहिए क्योंकि सामने वाला बार बार आपकी भावनाओ को कुचल रहा हैं और अब तक कठिनाईयों से सीख कर और अपनी गलतियों से जो सबक मिला उसका अनुभव कर आगे बढ़ना चाहिए। इस समय आप इससे बाहर आने के लिए किसी दूसरे साथी के बारे में नहीं सोचे, नहीं तो आप फिर किसी कार्मिक बोझ में दब सकते हैं, अगर आप यह चक्र तोड़ने में समर्थ हो जाते हैं तो आप कार्मिक बंधन से हमेशा के लिए मुक्त हो सकते हैं।

इस समय अगर आप अधिक अकेलापन महसुस करे तो किसी और साथी के साथ रिशता बनाने के बज़ाए अपने मन की बात किसी अपने से कह सकते हैं और किसी मनोचिकित्सक से बात भी कर सकते हैं। 

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